रांची: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन इन दिनों सरकारी दौरे पर स्पेन में हैं, जहां वह राज्य में निवेश के नए अवसरों को लेकर विभिन्न औद्योगिक और व्यापारिक प्रतिनिधियों से मुलाकात कर रहे हैं। इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य झारखंड में विदेशी निवेश को आकर्षित करना और राज्य के औद्योगिक विकास को नई दिशा देना है।
कल्पना सोरेन ने की साझा की तस्वीर
मुख्यमंत्री के साथ उनकी पत्नी कल्पना सोरेन भी इस दौरे में शामिल हैं। दोनों ने बार्सिलोना स्थित विश्व प्रसिद्ध सागरदा फमिलिया चर्च का दौरा किया, जिसकी कुछ तस्वीरें सोशल मीडिया पर साझा की गईं और तेचर्च की खूबसूरत वास्तुकला और आध्यात्मिक माहौल ने मुख्यमंत्री को खासा प्रभावित किया।
सूत्रों के अनुसार, हेमंत सोरेन की स्पेन में कई बिज़नेस लीडर्स और निवेशकों से बैठकें निर्धारित हैं। इसमें ग्रीन एनर्जी, स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर, टूरिज्म और स्किल डेवलपमेंट जैसे क्षेत्रों में संभावित सहयोग और निवेश पर चर्चा हो रही है।
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पहुंचे बार्सिलोना, भारत-स्पेन सहयोग को लेकर हुए अहम समझौते और मुलाकातें
झारखंड को वैश्विक मंच पर लाने की कोशिश
राज्य सरकार की यह कोशिश है कि झारखंड को वैश्विक मंच पर एक निवेश के अनुकूल गंतव्य के रूप में प्रस्तुत किया जाए। इस यात्रा के दौरान संभावित एमओयू (MoU) पर हस्ताक्षर की भी उम्मीद जताई जा रही है, जिससे राज्य के युवाओं को रोजगार और नए उद्यम के अवसर मिल सकते हैं।
मुख्यमंत्री का यह दौरा झारखंड के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक सकारात्मक पहचान बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।
आज तक अधूरी है सागरदा फमलिया चर्च
सागरदा फमिलिया को स्पेनिश आर्किटेक्ट एंटोनी गौदी (Antoni Gaudí) ने डिज़ाइन किया था, और यह दुनिया की सबसे प्रसिद्ध अधूरी चर्च संरचनाओं में से एक है। इसकी वास्तुकला बेहद अनोखी और भव्य है, जिसमें रंगीन कांच की खिड़कियाँ और गॉथिक-स्टाइल स्तंभ शामिल हैं — जैसा कि इस तस्वीर में भी देखा जा सकता है।
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सोमवार, 21 अप्रैल 2025
झारखंड के लोगों को लगने वाला है 440 वोल्ट का झटका, 1 मई से इतने रुपये महंगी हो जाएगी बिजली…
रांची : झारखंड में नए बिजली टैरिफ की घोषणा 30 अप्रैल तक कर दी जायेगी। जानकारी के अनुसार मई से बिजली की दर 1 रुपये प्रति यूनिट बढ़ जाएगी। झारखंड राज्य विद्युत नियामक आयोग द्वारा इसकी तैयारी की जा रही है। सूत्रों ने बताया कि नये टैरिफ का ड्रॉफ्ट अंतिम चरणों में है।
आयोग 30 अप्रैल तक इसे हर हाल में घोषित कर देना चाहता है, ताकि एक मई से टैरिफ प्रभावी हो सके। जेबीवीएनएल भी नये टैरिफ का इंतजार कर रहा है। बीते वर्ष टैरिफ में बढ़ोतरी नहीं हो सकी थी। जेबीवीएनएल ने झारखंड कl घरेलू उपभोक्ता की बिजली दर में प्रति यूनिट दो रुपये बढ़ाने का प्रस्ताव दिया था।
वर्तमान में घरेलू उपभोक्ता की बिजली दर 6.65 रुपये
वर्तमान में शहरी क्षेत्र कl घरेलू उपभोक्ता की बिजली दर 6.65 रुपये प्रति यूनिट है, जिसे 8.65 रुपये प्रति यूनिट करने का प्रस्ताव दिया गया है। वहीं फिक्सड चार्ज भी 100 रुपये प्रति माह से बढ़ाकर 200 रुपये प्रतिमाह करने का प्रस्ताव दिया गया था। जेबीवीएनएल कl टैरिफ प्रस्ताव पर आयोग द्वारा जनसुनवाई की प्रक्रिया मार्च माह में पूरी कर ली गयी है।
जेबीवीएनएल आयोग को दे चुका है आपत्तियों का जवाब
जनसुनवाई पर आयी आपत्तियों का जवाब जेबीवीएनएल आयोग को दे चुका है। अब टैरफ को अंतिम रूप दिया जा रहा है। सूत्रों ने बताया कि इस वर्ष बिजली टैरफ में 50 पैसे से लेकर एक रुपये प्रति यूनिट तक बढ़ोतरी होने की संभावना है।
गुरुवार, 17 अप्रैल 2025
रांची:-कचहरी से कांटाटोली तक सड़क पर पार्किंग बंद, 31 पार्किंग स्थलों पर गाड़ी करें खड़ी...
रांची : शहर में ट्रैफिक व्यवस्था को बेहतर करने के लिए बुधवार को रांची नगर निगम कार्यालय में एक बैठक हुई।
नगर आयुक्त संदीप कुमार की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में ट्रैफिक से जुड़े कई मुद्दों पर चर्चा हुई और कई अहम फैसले लिए गए।
कचहरी से कांटाटोली तक पार्किंग बंद
इस रास्ते पर सड़क किनारे गाड़ियां खड़ी करने से जाम लगता है। अब यहां पार्किंग नहीं होगी। निगम जल्द वैकल्पिक पार्किंग स्थल की जानकारी देगा।
रिक्शा-ऑटो के लिए ये जगह तय
रिक्शा और ऑटो चालकों को अब केवल निर्धारित जगहों से ही सवारी लेनी और छोड़नी होगी, ताकि ट्रैफिक में रुकावट न हो।
दुकानों के सामने पार्किंग पर रोक
दुकानदार अपनी दुकानों के सामने गाड़ी नहीं खड़ी कर सकेंगे। इसके लिए निगम अभियान चलाएगा।
31 वैध पार्किंग स्थल पर खड़ी करें गाड़ियां निगम ने शहर में 31 जगहों को वैध पार्किंग स्थल घोषित किया है। लोगों से अपील की गई है कि वे अपनी गाड़ियां केवल इन्हीं जगहों पर खड़ी करें।
गलत पार्किंग पर होगी कार्रवाई
जो लोग नियम तोड़ेंगे, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। नगर आयुक्त संदीप कुमार ने लोगों से तय पार्किंग स्थलों का उपयोग करने और ट्रैफिक नियमों का पालन करने की अपील की। उन्होंने कहा कि इससे शहर की ट्रैफिक व्यवस्था सुचारू रहेगी।
रांची:-CM हेमंत जायेंगे स्वीडन और स्पेन, मिल गया पॉलिटिकल क्लियरेंस..
रांची : झारखंड में औद्योगिक निवेश लाने के मकसद से CM हेमंत सोरेन के नेतृत्व में एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल स्पेन और स्वीडन जायेगा। गुजरे कुछ रोज पहले हुई झारखंड कैबिनेट की बैठक में इस यात्रा और इससे संबंधित खर्च को भी मंजूरी दे दी गयी थी। वहीं, इस यात्रा के रास्ते के सारे रोड़े को भी हटा दिया गया है। CM के नेतृत्व में स्वीडन और स्पेन की यात्रा पर जानेवाली टीम को केंद्र सरकार से पॉलिटिकल क्लियरेंस मिल गया है। यह टीम आगामी 18 अप्रैल को विदेश जाने के लिए उड़ान भरेगी। यह टीम 19 से 27 अप्रैल तक स्वीडन और स्पेन के दौरे पर रहेगी। मिली जानकारी के अनुसार इस दौरे पर करीब तीन करोड़ 75 लाख रुपये प्लस जीएसटी खर्च होंगे।
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स्वीडन और स्पेन जाने वाली टीम में CM हेमंत सोरेन के अलावा उनकी विधायक पत्नी कल्पना सोरेन, मुख्य सचिव अलका तिवारी, मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव अविनाश कुमार, रिटायर्ड IFS और टास्क फोर्स सस्टेनेबल जस्ट ट्रांजिशन के अध्यक्ष एके रस्तोगी, उद्योग सचिव अरवा राजकमल, JSMDC के एमडी राहुल कुमार सिन्हा, निदेशक उद्योग सुशांत गौरव, एमडी JIIDCO वरुण रंजन, संयुक्त निदेशक उद्योग प्रणव कुमार पाल और सीएम के निजी सुरक्षा अधिकारी अजय कुमार सिंह शामिल हैं।
रांची:-रांची के एयरपोर्ट रोड स्थित ईडी कार्यालय के बाहर सैंकड़ों की संख्या में कांग्रेस के नेता कार्यकर्ता प्रदर्शन.....
प्रदर्शन में कांग्रेस के विधायक दल के नेता प्रदीप यादव, झारखंड कांग्रेस के प्रभारी के राजू, कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष केशव महतो कमलेश, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर, विधायक इरफान अंसारी व अन्य विधायक और कार्यकर्ता जमा हुए हैं।
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ईडी कार्यालय के बाहर भारी संख्यां में सुरक्षाबलों की तैनाती कर दी गई है। बता दें कि यह प्रदर्शन नेशनल हेराल्ड केस में सोनिया और राहुल गांधी पर दर्ज मामले के विरोध में किया।
शनिवार, 1 मार्च 2025
उत्तराखंड में कुदरत का कहर, चमोली में 57 मजदूर बर्फ में दबे, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने जताई चिंता
उत्तराखंड के चमोली जिले के माणा गांव के पास ग्लेशियर टूटने से बड़ा हादसा हो गया. इस आपदा में सीमा सड़क संगठन (BRO) के ठेकेदार के तहत काम कर रहे 57 मजदूर बर्फ के नीचे दब गए. राहत की बात यह है कि 16 मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया है, लेकिन अब भी 47 मजदूरों की तलाश जारी है.
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने जताई चिंता
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने इस हादसे पर चिंता जताई है. उन्होंने कहा, "उत्तराखंड के चमोली जिले में ग्लेशियर टूटने से कई श्रमिकों के फंसने की खबर मिली है. BRO, ITBP और अन्य एजेंसियां राहत कार्य में लगी हुई हैं. मैं सभी श्रमिकों की सुरक्षा की कामना करता हूं."
Nature wreaks havoc in Uttarakhand, 57 workers buried in snow in Chamoli, Chief Minister Hemant Soren expressed concern
A major accident occurred due to the breaking of the glacier near Mana village in Chamoli district of Uttarakhand. In this disaster, 57 workers working under the contractor of Border Roads Organisation (BRO) got buried under the snow.
The matter of relief is that 16 workers have been evacuated safely, but the search for 47 workers is still on.Chief Minister Hemant Soren expressed concern
Jharkhand Chief Minister Hemant Soren has expressed concern over this accident. He said, "There are reports of many workers being trapped due to the glacier breaking in Chamoli district of Uttarakhand.
मंगलवार, 25 फ़रवरी 2025
CM की पहल, टूटे अरमानों के बीच उम्मीद की रोशनी I
तेलंगाना के अंधेरी सुरंग में चार झारखंडी श्रमिक फंसे हैं, घबराये हुये, उम्मीद और अनिश्चितता के बीच झूलते घरवालों की बेचैन आंखें किसी चमत्कार की राह देख रही हैं। इस संकट की घड़ी में झारखंड के CM हेमंत सोरेन के आदेश पर गुमला जिला प्रशासन के अधिकारी श्रमिकों के परिजनों को लेकर तेलंगाना रवाना हो चुके हैं। बिरसा मुंडा हवाई अड्डे से चार परिवारों के सदस्य पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के साथ निकल पड़े। उधर, श्रम विभाग के अधिकारी हालात पर लगातार नजर बनाये हुये हैं।
सुरंग में फंसी जिंदगी
तेलंगाना के नागरकुरनूल जिले की श्रीशैलम लेफ्ट बैंक कैनाल सुरंग में कुल आठ श्रमिक फंसे हैं, इसमें झारखंड के चार लोग हैं, वहीं, यूपी के दो, एक पंजाब के और एक जम्मू-कश्मीर के हैं। NDRF की टीमें रेस्क्यू में जुटी है। झारखंड का प्रवासी नियंत्रण कक्ष लगातार तेलंगाना प्रशासन और श्रमिकों से संपर्क में है। हर बीतते पल के साथ बचाव दल की कोशिशें तेज हो रही हैं। उम्मीदों का दीप जल रहा है, बस अब एक अच्छी खबर का इंतजार है।
रांची में भूकंप से हिली धरती, जान माल की क्षति नहीं I
बता दें कि सुबह सुबह भूकंप के झटके बंगाल और ओडिशा में देखने को मिला था। इसकी तीव्रता 5.5 बतायी जा रही है। इससे पहले रात के वक्त दिल्ली में भी भूकंप के झटके महसूस किया गया है
रांची में भूकंप के झटके महसूस किये गये हैं। घटना सुबह 5.45 से 6 बजे की है। भूकंप का केंद्र बंगाल की खाड़ी बताया जा रहा है। डोरंडा के रहमत कॉलोनी में लोगों ने इस झटके को महसूस किया है। हालांकि, अभी तक इसकी तीव्रता से जुड़ी कोई जानकारी सामने नहीं आई है, लेकिन विभाग जल्द ही इस पर जानकारी देगा।
बता दें कि सुबह सुबह भूकंप के झटके बंगाल और ओडिशा में देखने को मिला था। इसकी तीव्रता 5.5 बतायी जा रही है। इससे पहले रात के वक्त दिल्ली में भी भूकंप के झटके महसूस किया गया है। बता दें कि रांची के अलावा कोलकाता और ओडिशा के कई जिलों में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए। समुद्र किनारे रहने वाले लोगों को तेजी से झटका महसूस हुआ। ओडिशा में भूकंप की तीव्रता 5.1 थी।
भूकंप क्यों और कैसे आता है?
वैज्ञानिक रूप से समझने के लिए हमें पृथ्वीे की संरचना को समझना होगा। पृथ्वीे टैक्टोनिक प्लेटों पर स्थित है। इसके नीचे तरल पदार्थ लावा है और इस पर टैक्टोनिक प्लेट्स तैरती रहती हैं।
कई बार ये प्लेट्स आपस में टकरा जाती हैं। बार-बार टकराने से कई बार प्लेट्स के कोने मुड़ जाते हैं और ज्यारदा दबाव पड़ने पर ये प्ले ट्स टूटने लगती हैं। ऐसे में नीचे से निकली ऊर्जा बाहर की ओर निकलने का रास्ताट खोजती है। जब इससे डिस्ट र्बेंस बनता है तो इसके बाद भूकंप आता है।
कैसे मापी जाती है तीव्रता?
भूकंप को रिक्टर स्केल पर मापा जाता है। रिक्टंर स्केइल भूकंप की तरंगों की तीव्रता मापने का एक गणितीय पैमाना होता है, इसे रिक्टर मैग्नीट्यूड टेस्ट स्केल कहा जाता है। रिक्टर स्केल पर भूकंप को इसके केंद्र यानी एपीसेंटर से 1 से 9 तक के आधार पर मापा जाता है। ये स्केकल भूकंप के दौरान धरती के भीतर से निकली ऊर्जा के आधार पर तीव्रता को मापता है।
बुधवार, 12 फ़रवरी 2025
झारखंड के फोर्थ ग्रेड के कर्मचारियों को सुप्रीम कोर्ट से बड़ा झटका, साल 2010 में हुई नियुक्ति प्रक्रिया को दिया अवैध करार l
सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड सरकार द्वारा 29 जुलाई 2010 को आयोजित चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती प्रक्रिया को अवैध और असंवैधानिक घोषित किया है. इससे पूरी प्रक्रिया निरस्त हो गयी.कोर्ट ने राज्य सरकार को छह माह के अंदर उक्त पदों के लिए नये विज्ञापन जारी करने का निर्देश दिया. पदों की संख्या का उल्लेख नहीं करने, आरक्षण व इंटरव्यू राउंड (मूल रूप से विज्ञापन में उल्लेख नहीं) शामिल करने के बीच में नियम को बदलने जैसे कारकों का हवाला देते हुए कोर्ट ने पाया कि भर्ती प्रक्रिया से संविधान के अनुच्छेद-14 व 16 का उल्लंघन होता है.
प्रार्थी अमृत यादव की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनाया फैसला सुप्रीम कोर्ट ने प्रार्थी अमृत यादव की याचिका पर यह फैसला सुनाया. जस्टिस पंकज मित्तल और जस्टिस संदीप मेहता की खंडपीठ ने झारखंड हाइकोर्ट के फैसले को बरकरार रखा. खंडपीठ ने कहा कि असंवैधानिक प्रक्रिया के माध्यम से की गयी नियुक्तियों को संरक्षित नहीं किया जा सकता है, भले ही उम्मीदवारों ने वर्षों तक काम किया हो और उनकी नियुक्ति रद्द करने से पहले उनकी बात नहीं सुनी गयी हो. 
सुप्रीम कोर्ट ने एकल पीठ पर क्या कहा
अदालत ने आगे कहा कि यदि कानून की दृष्टि में विषयगत नियुक्तियां शुरू से ही अमान्य थीं, तो एकल पीठ के लिए यह आवश्यक नहीं था कि वह ऐसे निर्णय से प्रभावित होने वाले सभी पक्षों, यानी अपीलकर्ता कर्मचारी सहित विषयगत पदों पर पहले से नियुक्त उम्मीदवारों को सुनने के बाद आदेश पारित करे.
सार्वजनिक रोजगार भारत के सविंधान द्वारा राज्य को सौंपा गया कर्तव्य है
खंडपीठ ने कहा कि हम यह ध्यान रखना उचित समझते हैं कि सार्वजनिक रोजगार भारत के संविधान द्वारा राज्य को सौंपा गया कर्तवर्त्य है.
Big blow to Jharkhand's fourth grade employees from Supreme Court, declared the recruitment process of 2010 illegal
Supreme Court has declared the recruitment process of fourth grade employees conducted by Jharkhand government on 29 July 2010 illegal and unconstitutional. This has cancelled the entire process. Court directed the state government to issue new advertisements for the said posts within six months. Citing factors like not mentioning the number of posts, changing the rule in between including reservation and interview round (not originally mentioned in the advertisement), the court found that the recruitment process violates Articles 14 and 16 of the Constitution.
Supreme Court gave its verdict on the petition of applicant Amrit Yadav
Supreme Court gave this verdict on the petition of applicant Amrit Yadav. The division bench of Justice Pankaj Mittal and Justice Sandeep Mehta upheld the decision of Jharkhand High Court. The bench said that appointments made through unconstitutional process cannot be protected even if the candidates have worked for years and were not heard before their appointment was cancelled.What did the Supreme Court say on the single bench
The court further said that if the subject appointments were invalid ab initio in the eyes of the law, then it was not necessary for the single bench to pass the order after hearing all the parties affected by such decision, that is, the candidates already appointed on the subject posts including the appellant employee.
Public employment is a duty entrusted to the state by the Constitution of India