दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास हुए कार धमाके की जांच में चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है। जांच एजेंसियों ने पाया है कि धमाका करने वाला ग्रुप फरीदाबाद की अल फलाह यूनिवर्सिटी से जुड़ा हुआ था। सूत्रों के अनुसार, इस साजिश की तैयारी जनवरी से ही शुरू कर दी गई थी।
डॉ. शाहीन शाहिद खुलासा दो साल से जमा कर रही थी विस्फोटक
फरीदाबाद से गिरफ्तार डॉ. शाहीन शाहिद ने पूछताछ में कबूला कि वह पिछले दो साल से विस्फोटक सामग्री जुटा रही थी। जांच में खुलासा हुआ कि उसने अपने साथियों के साथ मिलकर एक व्हाइट कॉलर टेरर मॉड्यूल तैयार किया था। इसमें पेशेवर और पढ़े-लिखे लोग शामिल थे। यह मॉड्यूल जैश-ए-मोहम्मद और अंसार गजवत-उल-हिंद जैसे आतंकी संगठनों से जुड़ा था।
फरीदाबाद से बरामद हुई दूसरी कार
पुलिस को शक था कि धमाके में दो कारों का इस्तेमाल हुआ था। बुधवार को हरियाणा के खंदावली गांव से लाल रंग की फोर्ड इकोस्पोर्ट (DL10-CK-0458) बरामद की गई। यह कार डॉ. उमर उन नबी के नाम पर रजिस्टर्ड थी, जो धमाके में मारा गया था।
पीएम मोदी ने घायलों का हाल जाना
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार को भूटान से लौटने के बाद सीधे LNJP अस्पताल पहुंचे। उन्होंने घायलों से मुलाकात की और डॉक्टरों से इलाज की जानकारी ली। प्रधानमंत्री ने कहा कि साजिश करने वालों को किसी भी हालत में छोड़ा नहीं जाएगा।
देशभर में 200 बम धमाकों की साजिश
जांच एजेंसियों के अनुसार, यह ग्रुप केवल दिल्ली नहीं, बल्कि पूरे देश में 200 आईईडी बम लगाकर हमले करने की तैयारी में था। उनके निशाने पर लाल किला, इंडिया गेट, कॉन्स्टिट्यूशन क्लब, गौरी शंकर मंदिर, गुरुग्राम और फरीदाबाद समेत कई रेलवे स्टेशन और मॉल थे। आतंकियों का मकसद धार्मिक स्थलों पर हमला कर देश में सांप्रदायिक तनाव फैलाना था। इसके लिए उन्होंने कश्मीर के पुलवामा, शोपियां और अनंतनाग के डॉक्टरों को चुना ताकि उन्हें आवाजाही में कोई दिक्कत न हो।
सुसाइड ब्लास्ट नहीं था हमला
जांच में सामने आया कि कार ने किसी बिल्डिंग या व्यक्ति को टक्कर नहीं मारी। धमाका वाहन के भीतर ही हुआ। यह सुसाइड कार बॉम्बिंग नहीं थी। डॉ. उमर की पहचान के लिए डीएनए जांच जारी है। यहां याद दिला दें कि यह धमाका सोमवार शाम करीब 6 बजकर 52 मिनट पर लाल किला मेट्रो स्टेशन के गेट नंबर-1 के पास हुआ था। इसमें 12 लोगों की मौत हुई और कई घायल हुए। पुलिस ने कहा कि कार में वही विस्फोटक सामग्री थी, जो 10 नवंबर को फरीदाबाद से जब्त की गई थी।







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