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सोमवार, 29 दिसंबर 2025

बिहार: अनंत सिंह के बेटे मिले CM नीतीश कुमार से, आगे क्या

बिहार की सियासत में एक बार फिर हलचल है, और इसकी धड़कन सीधे मोकामा से आ रही है। बाहुबली विधायक अनंत सिंह से जुड़ी एक अहम सियासी तस्वीर सामने आई है। मोकामा के मौजूदा विधायक और ‘छोटे सरकार’ के नाम से मशहूर अनंत सिंह की पूर्व विधायक पत्नी नीलम देवी, अपने दोनों बेटों के साथ CM नीतीश कुमार से मिलने पहुंची। इस मुलाकात के पीछे कोई बड़ा सियासी संकेत छिपा है, इसी सवाल ने मोकामा की राजनीति को गरमा दिया है। दरअसल, अनंत सिंह इन दिनों जेल की सलाखों के पीछे हैं। चुनाव के बीच पटना पुलिस ने उन्हें एक हत्याकांड में संलिप्तता के आरोप में गिरफ्तार किया था। मामला अदालत में विचाराधीन है। इधर, मोकामा और आसपास के इलाकों में उनके समर्थक आज भी उसी उम्मीद के साथ बैठे हैं कि फैसला उनके नेता के हक में आयेगा और ‘छोटे सरकार’ फिर से पुराने रौब के साथ जनता के बीच लौटेंगे। फिलहाल, सबकी निगाहें कोर्ट के फैसले पर टिकी हैं।



लेकिन इन सबके बीच मोकामा की राजनीति में जो नया रंग उभर रहा है, वह चौंकाने वाला है। सवाल उठ रहा है, क्या ‘छोटे सरकार’ की विरासत अब अगली पीढ़ी संभालने जा रही है? इन दिनों अनंत सिंह के दोनों बेटे, अंकित और अभिषेक, इलाके में खासे एक्टिव नजर आ रहे हैं। करीब 50 गाड़ियों के काफिले के साथ वे मोकामा विधानसभा क्षेत्र के गांव-गांव पहुंच रहे हैं। लोगों से मिलना, हालचाल पूछना, सुख-दुख बांटना और आशीर्वाद लेना, यह सब कुछ बिल्कुल उसी अंदाज में हो रहा है, जैसा सालों से अनंत सिंह करते आये हैं। सबसे दिलचस्प बात यह है कि इन दोनों भाइयों का ठाठ, ठसक और आत्मविश्वास हूबहू अपने पिता जैसा दिख रहा है। यही वजह है कि मोकामा की गलियों में अब नारे भी बदलने लगे हैं। जहां कभी “छोटे सरकार जिंदाबाद” गूंजता था, वहीं अब “अंकित भैया जिंदाबाद” और “अभिषेक भैया जिंदाबाद” की आवाजें सुनाई देने लगी हैं।


इतना ही नहीं, अनंत सिंह के पुराने सिपहसालार, समर्थक और रणनीतिकार भी अब इन्हीं दोनों भाइयों के साथ कदमताल करते दिख रहे हैं। जहां-जहां उनका काफिला पहुंचता है, वहां भीड़, जोश और चर्चा—सब कुछ पुराने दिनों की याद दिला देता है। स्थानीय नेताओं से मुलाकात, कार्यकर्ताओं के साथ बैठक और आम जनता से सीधा संवाद, यह साफ इशारा कर रहा है कि अंकित और अभिषेक का राजनीति से रिश्ता अब सिर्फ नाम का नहीं रहा। गौर करने वाली बात यह भी है कि पिछले विधानसभा चुनाव में जब अनंत सिंह से उनके बेटों के राजनीतिक भविष्य पर सवाल पूछा गया था, तो बेबाक ‘छोटे सरकार’ उस वक्त गंभीर हो गये थे। उन्होंने कहा था,“अभी लड़कवा के उमर नय हय, अगिला बेरी हो जतय त लड़तय।”

यानी संकेत साफ था, आज नहीं, लेकिन कल जरूर।

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